फ्रायड की वैचारिक शक्ति - Bablu Sharma

Everyone needs some inspiration, and these motivational quotes will give you the edge you need to create your success. So read on and let them inspire you.

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फ्रायड की वैचारिक शक्ति




प्रसिद्ध चिंतक फ्रायड ने अपनी जीवनी में लिखा है कि एक बार वे अपनी पत्नी व छोटे से बच्चे के साथ बगीचे में घूमने गए। देर शाम तक वे अपनी पत्नी के साथ बातचीत करते रहे और टहलते रहे। जब गेट बंद होने का समय आया तो उनकी पत्नी को याद आया कि उनका बच्चा जाने कहां छूट गया है। वह घबरा उठी। फ्रायड ने कहा, ‘‘घबराओ मत। मुझे यह बताओ कि क्या तुमने उसे कहीं जाने से मना किया था ? अगर मना किया था तो समझो कि पूरी-पूरी उम्मीद है कि वह वहीं गया होगा।’’
पत्नी ने कहा, ‘‘हां, मना किया था और कहा था कि फव्वारे पर मत पहुंच जाना,’’ अंतत: दोनों उस फव्वारे की तरफ गए और जब बेटे को फव्वारे के पानी में पैर लटकाए देखा तो फ्रायड की पत्नी हैरान हो गई। उसने पति से पूछा, ‘‘तुम्हें कैसे पता चला कि हमारा बेटा यहीं होगा ?’’
फ्रायड ने कहा, ‘‘यह कोई आश्चर्य की बात नहीं है। मन को जहाँ जाने से रोका जाता है, वह वहीं जाने के लिए बाध्य करता है।’’
फ्रायड ने आगे लिखा है कि मनुष्य इस छोटे से सूत्र का पता आज तक नहीं लगा पाया। हमारे धर्म, नीतियाँ और समाज जितना ही दमन पर जोर दे रहे है, हम परमात्मा से उतने ही दूर होते जा रहे हैं। दमन से मुक्ति ही परमात्मा के घर तक पहुंचने के एकमात्र साधन हो सकता है।


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