यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि - Bablu Sharma

Everyone needs some inspiration, and these motivational quotes will give you the edge you need to create your success. So read on and let them inspire you.

Post Top Ad

Your Ad Spot

यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि

यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि
दो प्रकार का यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि :-
1) साबर
2) तान्त्रोक्त यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि
श्री गणेश जी और गुरुमंत्र का जाप करले
1)साबर यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि:-
निम्न मंत्र का 108 बार जाप करके लाल रंग की अक्षत चढ़ाये॰
सत नमो आदेश । गुरुजी को आदेश । ॐ गुरुजी । ॐ सोहं हंसाय विदमहे प्राण-प्राणाय धीमही तन्नो ज्योति स्वरूप प्रचोदयात । श्री नाथजी गुरुजी को आदेश । आदेश ।
अब निम्न मंत्र को 108 बार जाप करते हुये यंत्र को स्पर्श करो,
सत नमो आदेश । गुरुजी को आदेश । ॐ गुरुजी । ॐ सों ॐ आं ह्रीं क्रों यं रं लं वं शम षम सं हं स: जती साबर साधना सिद्धि यंत्रस्य प्राण: इह ज्योति स्वरूप जपा-अजपा हंसा: प्राण प्राणाहा:।
ॐ आं ह्रीं क्रों यं रं लं वं शम षम सं हं स: जती साबर साधना सिद्धि यंत्र घट पिंडमे शिव-शक्ति की माया । जीव रूप मे शिव की माया । जीव रूप मे शिव गोरक्षनाथ कहाया ।
ॐ आं ह्रीं क्रों यं रं लं वं शम षम सं हं स: जती साबर साधना सिद्धि यंत्र दस इंद्रियों की काया । पांच तत का किया पसारा । अमर योगी अमर काया । अक्षय योगी सबसे न्यारा । श्री नाथ जी निखिलेश्वरानंदजी के चरण-कमलोकों आदेश । आदेश आदेश ।
निम्न पाचो मंत्र का 11-11 बार जाप करते हुये यंत्र का पूजन करे और यंत्र को स्थापित कर दीजिये
ॐ श्री चैतन्य गोरक्षनाथाय नमो नम:
ॐ श्री चैतन्य कनिफनाथाय नमो नम:
ॐ श्री चैतन्य गहिनिनाथाय नमो नम:
ॐ श्री चैतन्य मच्छिंद्रनाथाय नमो नम:
ॐ श्री चैतन्य निखिलनाथाय नमो नम:
और सभी सिद्धों को निम्न मंत्र बोलते हुये प्रार्थना कीजिये
सत नमो आदेश । गुरु जी को आदेश । ॐ गुरुजी । सिद्ध सुमिर चले गोदावरि तीन भुवन हो सिद्ध भूले भटके पंथ कर ध्यावे ,अष्ट सिद्धि नव निधि को पावे सर्व चौरासी सिद्धों इनकी थिर काया अरु वज्र काया पिवों सिद्धों उन्मुख प्याला सर्व के पति श्री शंभुजती गुरु गोरक्षनाथ जी बाला । इतना चौरासी सिद्धों के चरण कमाल को हाथ जोड़कर आदेश । आदेश । नमामि नम:।
अब सारे विधि को सदगुरुजी के श्री चरणो मे समर्पित करे और क्षमा प्रार्थना करे॰
आदेश निखिलजी का आदेश आदेश............
=================================================================
2) तान्त्रोक्त यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा विधि
संकल्प
दाहिने हाथ मे जल,अक्षत व कुंकुम लेकर संकल्प कीजिये
ॐ विष्णु र्विष्णु र्विष्णु: श्री मदभगवतों महाप्रभावस्य द्वितीय परार्धे श्वेतवारहकल्पे भरतखण्डे पुण्य क्षेत्रे, अमुक गोत्रीय(अपना गोत्र बोले) अमुक शर्माहं (अपना नाम बोले) अद्द अमुक (यंत्र का नाम बोले) यंत्रस्य अमुक (साधना का नाम बोले) साधना संबंधे प्राण-प्रतिष्ठा सिध्यर्थ करिष्ये ॥
विनियोग-
अस्य श्री प्राण-प्रतिष्ठा मंत्रस्य विष्णुरूद्रौ ऋषी ऋज्ञजु: सामानिच्छदासी प्राणख्या देवता । ॐ आं बीजं ह्रीं शक्ति: क्रां कीलकं यं रं लं वं शम षम सं हं हं स: एत: शक्तय: यंत्र/गुटिका/मूर्ति प्रतिष्ठापन विनियोगा: ॥
मंत्र का कम से कम २१ बार जाप करे या १०८ बार,जाप करते समय यंत्र स्पर्श कर सकते है
ॐ आं ह्रीं क्रों यं रं लं वं शम षम सं हं स: देवस्य प्राणा: इह प्राणा: पुरुच्चार्य देवस्य सर्वेनींद्रयानी इह:। पुरुच्चार्य देवस्य त्वक्पाणि पाद पायु पस्थादीनी इह: । पुरुच्चार्य देवस्य वाड मनुश्चक्षु: श्रोत्र घ्राणानि इहागत्य सुखेन चीरं तिष्ठतु स्वाहा ॥
यंत्र प्राण-प्रतिष्ठा के बाद यंत्र का पूजन करके स्थापित कर दीजिये
श्रीसदगुरुजीचरनाश्रयह:...............

Post Top Ad

Your Ad Spot