जय थावेवाली माई की !
बिहार प्रान्त के गोपालगंज शहर से मात्र ६ किलो मीटर के दुरी पर सिवान जायेवाला राजमार्ग पर थावे नाम के जगह बा ओहिजा माई थावेवाली के बहुत प्राचीन मंदीर बा | माई थावेवाली के सिंहासिनी भवानी, थावे भवानी और रहषु भवानी भी कहल जाला |
कामरूप (असम) जहा कामख्या देवी के बड़ा प्राचीन और भव्य मंदीर बा माई उहा से थावे अईली एही से माई के कावरू-कामख्या देवी के नाम से भी जानल जाला | थावे में माई कामख्या के बहुत सच्चा भक्त रहषु जी रहनी लेकिन उहा के तत्कालीन राजा मनन सिंह का ई बात में विश्वास ना रहे आ रहषु भगत जी के ढोंगी समझत रहलन | एक दिन राजा मनन सिंह अपना जिद्द पर अड़ गईलन आ रहशु भगत जी के चुनौती दहलन के अगर तू देवी
के असली भगत होख्बा ता अभी देवी के बुलाके देखाव नाता तोहरा के दंड दिहल जाई | रहषु जी के बार-बार समझावाला पर भी राजा मनन सिंह ना मनले , अब रहषु जी के लगे माई के बुलावाला के अलावा कवनो रास्ता ना रहे | रहषु जी माई के सुमिरन कईनी माई कामख्या स्थान से चलली आ कलकाता , पटना, आमी होते हुवे थावे अईली आ साक्षात दर्शन देहली | राजा मनन सिंह के राज-पाट सहित अंत हो गईल |
माई जहा दर्शन देहली ओहिजा उहा के मन्दिर बा | रहषु भगत जी के मन्दिर भी ओहिजा लगले बा | माई के दर्शन के बाद रहषुजी के भी दर्शन करे के चाही तबे माई खुश होखेली | आस-पास में राजा मनन सिंह के महल के खँडहर भी बा |
माई बहुत दयालु आ कृपालु हई अपना शरण में आइल सभकर कल्याण करेली | हर शुख-दुःख में लोग माई के शरण में जाला आ माई केहू के भी निराश ना करेली सभकर मनोकामना पुरा करेली |
केहू का घरे शादी-वियाह होखे तबो लोग माई के आशीर्वाद लेबे जाला, कवनो दुःख-बेमारी होखे तबो लोग मई के शरण में जाला, केहू का कवनो गाड़ी-घोड़ा किनाला ता पहिला पूजा माईकीहा ही होला | माई हर घड़ी आ हार शुख दुःख में आपना भगतन पर करुना आ ममता के छाह राखेली सभकर मंगल करेली |
देश-विदेश में रहेवाला लोग भी जब साल-दूसाल पर अपना घरे आवेला तब ओकरा सभी काम के सूची में थावेवाली माई के दर्शन एक नम्बर में रहेला |
लेकिन एगो अफ़सोस एह बात के बा की आतना महत्व के बावजूद एह स्थान के विकास जेतना होखे के चाही नइखे भईल | आम जनता और प्रशासन के मिलजुल के एह स्थान के समुचित विकास के कोसिस करे के चाही ताकी माई के स्थान विश्व के मानचित्र पैर अगो महत्बपूर्ण दर्शानिये स्थल बन जावे |
बिहार प्रान्त के गोपालगंज शहर से मात्र ६ किलो मीटर के दुरी पर सिवान जायेवाला राजमार्ग पर थावे नाम के जगह बा ओहिजा माई थावेवाली के बहुत प्राचीन मंदीर बा | माई थावेवाली के सिंहासिनी भवानी, थावे भवानी और रहषु भवानी भी कहल जाला |
कामरूप (असम) जहा कामख्या देवी के बड़ा प्राचीन और भव्य मंदीर बा माई उहा से थावे अईली एही से माई के कावरू-कामख्या देवी के नाम से भी जानल जाला | थावे में माई कामख्या के बहुत सच्चा भक्त रहषु जी रहनी लेकिन उहा के तत्कालीन राजा मनन सिंह का ई बात में विश्वास ना रहे आ रहषु भगत जी के ढोंगी समझत रहलन | एक दिन राजा मनन सिंह अपना जिद्द पर अड़ गईलन आ रहशु भगत जी के चुनौती दहलन के अगर तू देवी
के असली भगत होख्बा ता अभी देवी के बुलाके देखाव नाता तोहरा के दंड दिहल जाई | रहषु जी के बार-बार समझावाला पर भी राजा मनन सिंह ना मनले , अब रहषु जी के लगे माई के बुलावाला के अलावा कवनो रास्ता ना रहे | रहषु जी माई के सुमिरन कईनी माई कामख्या स्थान से चलली आ कलकाता , पटना, आमी होते हुवे थावे अईली आ साक्षात दर्शन देहली | राजा मनन सिंह के राज-पाट सहित अंत हो गईल |
माई जहा दर्शन देहली ओहिजा उहा के मन्दिर बा | रहषु भगत जी के मन्दिर भी ओहिजा लगले बा | माई के दर्शन के बाद रहषुजी के भी दर्शन करे के चाही तबे माई खुश होखेली | आस-पास में राजा मनन सिंह के महल के खँडहर भी बा |
माई बहुत दयालु आ कृपालु हई अपना शरण में आइल सभकर कल्याण करेली | हर शुख-दुःख में लोग माई के शरण में जाला आ माई केहू के भी निराश ना करेली सभकर मनोकामना पुरा करेली |
केहू का घरे शादी-वियाह होखे तबो लोग माई के आशीर्वाद लेबे जाला, कवनो दुःख-बेमारी होखे तबो लोग मई के शरण में जाला, केहू का कवनो गाड़ी-घोड़ा किनाला ता पहिला पूजा माईकीहा ही होला | माई हर घड़ी आ हार शुख दुःख में आपना भगतन पर करुना आ ममता के छाह राखेली सभकर मंगल करेली |
देश-विदेश में रहेवाला लोग भी जब साल-दूसाल पर अपना घरे आवेला तब ओकरा सभी काम के सूची में थावेवाली माई के दर्शन एक नम्बर में रहेला |
लेकिन एगो अफ़सोस एह बात के बा की आतना महत्व के बावजूद एह स्थान के विकास जेतना होखे के चाही नइखे भईल | आम जनता और प्रशासन के मिलजुल के एह स्थान के समुचित विकास के कोसिस करे के चाही ताकी माई के स्थान विश्व के मानचित्र पैर अगो महत्बपूर्ण दर्शानिये स्थल बन जावे |
जय थावेवाली माई की
!
रउरा सभे
के ....
बब्लु शर्मा
रियाद सउदी अरब
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(थावे के एगो मिठाई बड़ा प्रसिद्ध हां जवना के पिदुकिया कहल जाला, शुध देशी घिव में बनेला, ई मिठाई असली ओहिजा मिलेला, वास्तव में बड़ा स्वादिष्ट लागेला | एह मिठाई के प्रसिधी बहुत दूर-दूर ले भइल जाता कुछ और जगह भी अब मिलल सुरु हो गईल बा बकीर जवान स्वाद थावेवाला पिदुकिया के बा ऊ कही और नइखे)
(थावे के एगो मिठाई बड़ा प्रसिद्ध हां जवना के पिदुकिया कहल जाला, शुध देशी घिव में बनेला, ई मिठाई असली ओहिजा मिलेला, वास्तव में बड़ा स्वादिष्ट लागेला | एह मिठाई के प्रसिधी बहुत दूर-दूर ले भइल जाता कुछ और जगह भी अब मिलल सुरु हो गईल बा बकीर जवान स्वाद थावेवाला पिदुकिया के बा ऊ कही और नइखे)